School Education Uttarakhand: मिनिस्ट्रियल संवर्ग के कार्मिकों को डीडीओ प्रभार सौपने के प्रस्ताव पर भड़के शिक्षक, राजकीय शिक्षक संघ के ऐलान के बाद निदेशक माध्यमिक शिक्षा ने की संघ की मांग पर डीजी से सहानुभूतिपूर्वक विचार की अपील
Himwant Educational News: महानिदेशक विद्यालय शिक्षा द्वारा शासन को भेजे गए मिनिस्ट्रियल संवर्ग के कर्मचारियों को आहरण और वितरण अधिकारी सहित खंड शिक्षा अधिकारी और उप शिक्षा अधिकारियों का प्रभार दिए जाने वाले प्रस्ताव को लेकर जहां शिक्षकों में भारी आक्रोश फैला है वही राजकीय शिक्षक संघ अब जबरदस्त आंदोलन की तैयारी में है। संघ के प्रांतीय अध्यक्ष और मंत्री ने महानिदेशक विद्यालयी शिक्षा को ज्ञापन सौंप कर अपना विरोध व्यक्त किया है। दूसरी ओर निदेशक माध्यमिक शिक्षा महावीर सिंह बिष्ट ने भी महानिदेशक से संघ के ज्ञापन पर सहानुभूति पूर्वक विचार करने का आग्रह किया है।
महानिदेशक विद्यालय शिक्षा को प्रेधित कार्यलयी पत्र में निदेशक माध्यमिक शिक्षा महावीर सिंह बिष्ट कहा है कि दिनांक 01 जून 2024 को राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड के प्रान्तीय अध्यक्ष एवं महामंत्री द्वारा अपना ज्ञापन मुझे प्रस्तुत किया गया, जिसमें उनके द्वारा अवगत कराया गया कि 01 जून 2024 के दैनिक समाचार पत्र हिन्दुस्तान के माध्यम से उन्हें अवगत हुआ है कि शिक्षा महानिदेशालय से लिपिक वर्ग को कक्षाओं के निरीक्षण एवं खण्ड शिक्षा अधिकारियों के प्रभार तथा आहरण वितरण अधिकारी के प्रभार संबधी प्रस्ताव शासन को प्रस्तुत किया गया है, जिसकी पुष्टि समाचार पत्र में महानिदेशक, विद्यालयी शिक्षा द्वारा की गई है। ऐसे किसी प्रस्ताव के विरोध स्वरूप राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड द्वारा घोर निंदा करते हुए अपना आक्रोश व्यक्त किया है तथा ऐसे किसी प्रस्ताव को तत्काल प्रभाव से निरस्त करने का अनुरोध भी किया गया है। इस संबंध में राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड के प्रान्तीय अध्यक्ष एवं महामंत्री अपने ज्ञापन सहित मेरे कार्यालय में उपस्थित हुए तथा उनके द्वारा अवगत कराया गया कि यदि ऐसा कोई प्रस्ताव निरस्त नहीं किया जाता है तो राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड कक्षाओं का बहिष्कार कर आंदोलन हेतु बाध्य हो जाएगा। साथ ही उनके द्वारा यह भी अवगत कराया गया कि कक्षाओं के बहिष्कार एवं आंदोलन की संपूर्ण जिम्मेदारी विभाग, शासन एवं सरकार की होगी। उक्त के संबंध में मेरा अभिमत है कि राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड द्वारा भी समय-समय पर राजपत्रित किए जाने सहित लगभग 34 माँगो का मॉगपत्र विभाग को 10 माह पूर्व दिया जा चुका है, जिस पर अभी तक कोई शासनादेश एवं निर्णय नहीं लिए गए हैं। यदि राजकीय शिक्षक संघ की माँगो पर विचार किए वगैर लिपिक वर्ग को कक्षाओं के निरीक्षण, खण्ड शिक्षा अधिकारियों के प्रभार, आहरण वितरण अधिकारी के प्रभार तथा अन्य अधिकार दिए जाते हैं तो माध्यमिक शिक्षकों में भारी आक्रोश उत्पन्न हो जाएगा। अतः राजकीय शिक्षक संघ उत्तराखण्ड के ज्ञापन दिनांक 01 जून 2024 को सहानुभूतिपूर्वक निर्णय किए जाने हेतु महोदय को प्रेषित है।
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